सर्वनाम- सर्वनाम के परिभाषा,सर्वनाम के भेद,उदाहरण

सर्वनाम

सर्वनाम :-

👉 परिभाषा :- संज्ञा के स्थान पर प्रयुक्त होने वाले शब्द सर्वनाम कहलाते हैं। अर्थात् सर्वनाम का प्रयोग संज्ञा के स्थान पर होता है।

जैसे:- सुनील परीक्षा नहीं दे सका, क्योंकि वह बीमार हो गया था।
हिंदी में ग्यारह सर्वनाम है :-
मैं, आप, यह, वह, जो, सो, कोई, कुछ, कौन, क्या। 
इन्हीं सर्वनामो से और भी सर्वनाम बनते हैं।

सर्वनाम के छह भेद होते हैं।

1. पुरुषवाक सर्वनाम:-

👉 जिस सर्वनाम से किसी (वक्ता) कहनेवाला, (श्रोता) सुनने-वाला और जिसके विषय  में बातचीत की जा रही है का बोध हो, वह पुरुषवाचक सर्वनाम है।
जैसे:- मैंने तुम्हें उसकी कलम दी।

पुरुषवाचक सर्वनाम के तीन भेद हैं :-

(क) उत्तम पुरुष :- 

👉 कहनेवाला आपने लिए जिस सर्वनाम का प्रयोग करता है, उसे उत्तम पुरुष कहते हैं।

जैसे:- मैं, हम।

(ख) मध्यम पुरुष :- 

👉 जिस सर्वनाम को बोलनेवाला सुननेवाले के लिए प्रयोग करता है, उसे मध्यम पुरुष कहते हैं।

जैसे:- तुम, तू, आप।

(ग) अन्य पुरुष :- 

👉 जिसके विषय में बात की जाती है, उसेे अन्य पुरुष कहतेे हैं।

जैसे:- क्या, कौन, कुछ, जो, यह, इत्यादि।

2. निश्चयवाचक सर्वनाम :-

👉 जो सर्वनाम निकट या दूरवर्ती किसी निश्चित व्यक्ति या वस्तु आदि का बोध करते हैं, उन्हें निश्चयवाचक सर्वनाम कहते हैं।

जैसे:- वह तुम्हारा भाई है। यह पुस्तक मेरी है।

3. अनिश्चयवाचक सर्वनाम :-

👉 जिस सर्वनाम से अनिश्चित वस्तु या व्यक्ति का बोध हो, उसे अनिश्चयवाचक सर्वनाम कहते हैं।

अनिश्चित वाचक सर्वनाम केवल दो हैं :- कुछ और कोई।
जैसे:- पानी में कुछ है। बाहर कोई बुला रहा है।

4. प्रश्नवाचक सर्वनाम :-

👉 जो सर्वनाम प्रश्न पूछने के लिए व्यक्त होता है, उसे प्रश्नवाचक सर्वनाम कहते हैं।

जैसे:- कहां जाओगे?  क्या खा रहे हो?

5. संबंधवाचक सर्वनाम :- 

👉 जो सर्वनाम संबंध प्रकट करते हैं, उन्हें संबंधवाचक सर्वनाम कहते हैं।

जैसे:- जिसका, जो, जिसके, आदि।
उदाहरण :- (क) जो पैदा हुआ है, वह मारेगा।
                (ख) जो परिश्रम करेगा, सो पाएगा।

6. निजवाचक सर्वनाम :-

👉 जिस सर्वनाम शब्दों का प्रयोग करता कर्ता अपने लिए करता है, उन्हें निजवाचक सर्वनाम कहते हैं।

जैसे:- (क) मैं स्वयं चला जाऊंगा।
         (ख) वह अपना काम आप ही करता है।
इन वाक्यों में आप, स्वयं निजवाचक सर्वनाम है।



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